पंकज श्रीवास्तव
ललित मोदी से लेकर नीरव मोदी तक के भ्रष्टाचार का मसला उठाते हुए राहुल गाँधी ने पूछा था कि सारे चोर मोदी ही क्यों होते हैं? लेकिन बीजेपी के एक नेता ने सारे मोदी समाज का अपमान बता दिया जिस पर सूरत की एक अदालत ने राहुल गाँधी को दो साल की सज़ा सुना दी.
पर सवाल ये है कि यह मोदी समाज क्या होता है....? क्या मोदी कोई जाति है, या यह कोई धार्मिक समूह?सच्चाई ये है कि मोदी आटा-दाल चावल आदि घरेलू या रसोई की सामग्रियों के व्यापारियों को कहा जाता है. इसीलिए घर के भंडारगृह को मोदीख़ाना भी कहा जाता रहा है.
मोदी सरनेम वाले विभिन्न धर्म और जाति में पाये जाते रहे हैं. रूसी मोदी से लेकर पीलू मोदी जैसे प्रसिद्ध लोग पारसी थे, वहीं प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी हिंदू हैं. मैं व्यक्तिगत रूप से ऐसे मुस्लिम शख्स को जानता हूँ जिन्हें मोदी कहा जाता था. मशहूर बैडमिंटन खिलाड़ी सैयद मोदी का नाम भी अपने सुना होगा. धंधे को सरनेम बनाने की रवायत पुरानी है. गुजरातियों में ख़ासकर.
मानहानि का मुकदमा दर्ज करने वाले को यह साबित करना पड़ता है कि वह सारे समाज का प्रतिनिधि है. पर वे गुजरात के बीजेपी नेता और पूर्व मंत्री हैं. वे जो चाहे कह सकते हैं. पीएम मोदी नेहरू सरनेम के बारे में संसद में खड़े होकर अपमानजनक बात कर सकते हैं लेकिन चोर साबित हो चुके किसी मोदी के बारे में कुछ बोलना जेल भेजने का मामला बन जाता है. पर राहुल गाँधी को डरा पायेंगे, ये सोचना भी हास्यास्पद है.
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