क्या समाजवादी पार्टी जीत रही है ?

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क्या समाजवादी पार्टी जीत रही है ?

हिसाम सिद्दीकी

लखनऊ! उत्तर प्रदेश असम्बली एलक्शन जैसे-जैसे नजदीक आते जा रहे हैं, हार के खौफ से बीजेपी में बौखलाहट और समाजवादी पार्टी के सदर अखिलेश यादव की मकबूलियत (लोकप्रियता) में मुसलसल इजाफा होता जा रहा है.  अखिलेश यादव की हर रैली में पिछली रैलियों के मुकाबले भीड़ में नुमाया इजाफा दिखता है.  उनके तीन करीबियों के ठिकानों पर इनकम टैक्स की छापोमारी फिर अखिलेश का फोन टेप किए जाने की खबरों के बाद इक्कीस दिसम्बर को मैनपुरी और एटा में रैलियां की तो लगा जैसे इंसानी समुन्दर उमड़ आया हो, इक्कीस दिसम्बर को ही प्रयागराज (इलाहाबाद) में वजीर-ए-आजम नरेन्द्र मोदी ने रैली की, जिसमें पूरे प्रदेश से भर कर ख्वातीन को लाया गया, इसके बावजूद अखिलेश की मैनपुरी रैली के मुकाबले इलाहाबाद की रैली में आधी भीड़ भी नहीं थी.  इनकम टैक्स छापों से बेफिक्र अखिलेश यादव ने कहा अभी तो इनकम टैक्स आया है, जैसे-जैसे शिकस्त नजर आएगी, सीबीआई और ईडी भी आएगी, लेकिन हमें इसकी फिक्र नहीं है, क्योंकि प्रदेश के अवाम ने सरकार तब्दील करने का इरादा कर लिया है.  मैनपुरी में उन्होंने कहा कि हमने चाचा (शिवपाल यादव) को साथ ले लिया तो जाँच होने लगी. 

उन्होने कहा कि बीजेपी जिस भी रियासत में जिस पार्टी से एलक्शन हार रही होती है उस पार्टी के लोगों पर छापेमारी शुरू करवा देती है.  मैनपुरी और एटा में अखिलेश की जो रैलियां हुई उसने अब तक की रैलियों में आई भीड़ का रिकार्ड तोड़ दिया.  मैनपुरी में तो बेकाबू भीड़ ने बैरीकेडिंग वगैरह सब तोड़ दी जबकि एटा पहुचने में अखिलेश यादव को रात हो गई थी.  इसके बाद भी बड़ी तादाद में लोग जमा थे.  सुबह से सख्त सर्दी के बावजूद लोग अखिलेश के इंतजार में शाम तक रूके रहे.  अखिलेश एटा के रामलीला मैदान में जब पहुंचे उस वक्त सात बज चुके थे अंधेरा हो गया था और सर्दी बढ़ रही थी.  फिर भी लोग मौजूद थे.  वहां पर बिजली का मुनासिब बंदोबस्त नहीं था इस वजह से अखिलेश ने मोबाइल की टार्च की रौशनी में लोगों को खिताब किया और उनसे कहा कि वह सब भी अपने मोबाइल की टार्च जला लें.  इसके बाद रामलीला मैदान पर हर तरफ रौशनी नजर आने लगी. 

मैनपुरी में समाजवादी पार्टी के कौमी सदर और प्रदेश के साबिक वजीर-ए-आला अखिलेश यादव जैसे ही समाजवादी विजय यात्रा के साथ शहर के क्रिश्चियन मैदान पहुंचे उन्हें देखकर वहां इकट्ठा लोग जोश में आ गए और  बैरिकेडिंग तोड़ दी.  पुलिस ने मशक्कत के बाद भीड़ को कण्ट्रोल किया.  अखिलेश यादव जब क्रिश्चियन मैदान में पहुंचे तो उनसे मिलने के लिए कई तंजीमों के ओहदेदारान अपने बैनरों के साथ मौजूद रहे.  शिक्षामित्र, अटेवा, वित्तविहीन शिक्षक, बीएड टीईटी-2011 बैच के ओहदेदारों ने साबिक वजीर-ए-आला के नाम मेमोरण्डम पार्टी लीडरान के जरिए पहुंचाए.  क्रिश्चियन मैदान पर मंच तैयार किया गया था.  पार्टी के सीनियर लीडर मंच पर थे.  अखिलेश यादव के मंच पर नहीं पहुंचने से लीडरान में मायूसी दिखी.  अखिलेश यादव ने अपने रथ की छत पर पहुंचकर ही रैली को खिताब किया.  वहीं से हाथ हिलाकर मंच पर मौजूद लीडरान का खैरमकदम किया.  अखिलेश यादव ने 21 दिसम्बर को क्रिश्चियन मैदान पर अवाम को खिताब करते हुए कहा कि हम सब जात की बुनियाद पर मर्दुमशुमारी चाहते हैं.  समाजवादी पार्टी की सरकार बनने के तीन महीने के अंदर जात पर मबनी मर्दुमशुमारी (जनगणना) कराकर सबको आबादी के हिसाब से हक दिलाएंगे.  समाजवादी पार्टी की पालीसियों का हर तबका हिमायत कर रहा है.  इसलिए हर तबके के लोग समाजवादी पार्टी से जुड़ रहे हैं.  समाजवादी पार्टी के आठवें दौर (चरण) की विजय यात्रा से कब्ल क्रिश्चियन मैदान में जुटे समाजवादी पार्टी वर्कर्स को मकामी लीडरान ने भी खिताब किया. 

मैनपुरी के बाद उनका रथ एटा पहुंचा जहां पार्टी वर्कर्स ने उनका जोशीला इस्तकबाल किया.  समाजवादी पार्टी के कौमी सदर और साबिक वजीर-ए-आला अखिलेश यादव भारतीय जनता पार्टी पर जमकर बरसे.  किसान, नौजवान, ख्वातीन सभी के मसायल की बात करते हुए कहा कि उत्तर प्रदेश में बुल्डोजर वाली सरकार नहीं चाहिए.  यह भी कहा कि बीजेपी प्रदेश में टाप टेन माफियाओं की लिस्ट जारी करे, इसमें बीजेपी लीडरान और उनकी सरपरस्ती पाए हुए लोगों के नाम होंगे.  नारा दिया कि उत्तर प्रदेश को योगी नहीं, योग्य (अहल) सरकार चाहिए.  एटा में भी अपने रथ से रैली को खिताब करते हुए कहा कि बीजेपी सरकार ने उत्तर प्रदेश को पीछे ले जाने का काम किया है.  महंगाई बढ़ाई, रोजगार नहीं दिए.  अटेवा, बीएड, बीपीएड, शिक्षामित्रों, रोजगार सेवकों को हक की लड़ाई लड़ने पर बेइज्जत किया.  कोई इम्तेहान होता है तो पेपर लीक हो जाते हैं.  इम्तेहान हो भी गए तो रद्द हो जाते हैं.  नौकरी रोजगार के इश्तेहारात के बड़े-बड़े होर्डिंग लखनऊ से दिल्ली तक लगे हैं, लेकिन नौकरी, रोजगार किसी को नहीं मिले.  उन्होंने कहा कि हमने 100 नंबर पुलिस सर्विस दी.  लेकिन सरकार ने इसे 112 करके पुलिस का भी कबाड़ा कर दिया, जो स्कीमें चल रही थीं, बर्बाद हो गईं.  इंतजाम फेल हो गए.  जब लोगों को जरूरत थी तब सरकार दवा नहीं दे पाई.  पांच साल की अपनी मुद्दत में इन्होंने (बीजेपी ने) इतना दुख, मुसीबत, परेशानियां दीं, जो किसी सरकार ने नहीं दी.  पार्टी कारकुनों और हामियों का हौसला बढ़ाते हुए कहा कि यह सैलाब अवाम का है. 

अखिलेश यादव ने कहा कि बीजेपी सरकारी मशीनरी का इस्तेमाल कर पूरे प्रदेश से इतनी भीड़ जुटा पाती है.  जितनी एटा में है.  बीजेपी पर तंज कसते हुए कहा कि इन लोगों ने कहा था कि चप्पल पहनने वाले हवाई जहाज में चलेंगे.  हवाई जहाज में तो कोई नहीं चल पाया, पेट्रोल-डीजल इतना महंगा कर दिया कि गरीब मोटरसाइकिल भी नहीं चला पा रहे हैं.  महंगाई के मुद्दे पर सरकार को घेरते हुए कहा कि खेतों में सरसों है, लेकिन इनके पास कीमत देने का इंतजाम नहीं है.  तेल 200 पार हो गया है.  बाबा वजीर-ए-आला ने लैपटाप, टेबलेट, स्मार्टफोन इसलिए नहीं दिए कि वह खुद चलाना नहीं जानते.  एटा के जवाहर पावर प्रोजेक्ट का जिक्र करते हुए कहा कि हमने इसका काम शुरू कराया.  पौने पांच साल में बीजेपी काम पूरा नहीं करा पाई.  हमारी सरकार आते ही इसे पूरा कराकर सस्ती बिजली देंगे.  किसानों को सिंचाई के लिए मुफ्त बिजली दी जाएगी.  बाबा कारखाने का नाम नहीं जानते, रट रहे हैं.  कारकुनों और हामियों को जज्बाती तौर से जोड़ते हुए कहा कि यहां भी बुलडोजर चला था, इमारतें गिराई गईं थीं.  चुनाव जीतने के लिए पैसा लिए घूम रहे थे.  पुलिस बीजेपी के साथ में चुनाव लड़ रही थी.  लखीमपुर में मांओं-बहनों के कपड़े फाड़े.  उनको बेइज्जत करने वालों पर बुलडोजर कब चलेगा? किसान आंदोलन कर रहे थे तो बीजेपी के इशारे पर पीछे से उन पर जीप चढ़ाई गई.  बुल्डोजर लखीमपुर कब जाएगा? सरकार पर तंज कसते हुए कहा कि नई सड़क के इफ्तेताह में नारियल नहीं, सड़क ही टूट गई.  अब यह लोग सड़कों का इफ्तेताह टमाटर फोड़कर करेंगे.  ओमप्रकाश राजभर के बाद अब चाचा शिवपाल यादव भी साथ आ गए हैं.  जबसे सब साथ आ गए हैं तब से बीजेपी घबराई हुई है.  इनकम टैक्स, ईडी और सीबीआई की टीम भी आएगी लेकिन समाजवादी लोग घबराते नहीं है.  अखिलेश यादव ने कहा कि यूपी के लिए योगी सरकार कैसी है इसका पता लोग इसी से लगा लें कि अमित शाह का ‘अ’ लें, नरेन्द्र मोदी का ‘न’ फिर उसके आगे यूपी योगी जोड़ दें तो यह ‘अनउपयोगी’ बन जाता है.  उन्होने कहा कि पार्टी वर्कर्स, लीडर और दीगर लोग घबराए नहीं, इनकम टैक्स और ईडी के छापे इस बात का सुबूत हैं कि चुनाव समाजवादी पार्टी जीत रही है. जदीद मरकज 

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