आलोक कुमार
पटना.पूरे प्रदेश में रविवार को जननायक कर्पूरी ठाकुर की जयंती मनाई गई. सत्ताधारी दल और विपक्ष दोनों के नेताओं ने बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री कर्पूरी ठाकुर की 97वें जयंती पर उन्हें नमन किया. रविवार को उनकी जयंती मनाने के बाद सोमवार को फिर एक बार उन्हें भारत रत्न से सम्मानित करने की मांग उठने लगी है. बिहार के नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव ने ट्वीट कर पूर्व सीएम कर्पूरी ठाकुर को भारत रत्न से सम्मानित करने की मांग की है. वहीं, इस काम में हो रही देरी की वजह से नीतीश कुमार पर निशाना साधा है.
तेजस्वी का ये ट्वीट करना था कि सीएम नीतीश कुमार ने चंद मिनटों के अंदर उनके ट्वीट के जवाब दिया और यह स्पष्ट कर दिया कि वे चार बार कर्पूरी ठाकुर को भारत रत्न देने की मांग उठा चुके हैं. सीएम नीतीश ट्वीट कर कहा कि हमने जननायक कर्पूरी ठाकुर को भारत रत्न से सम्मानित करने के लिए अपनी अनुशंसा केन्द्र सरकार को पहले ही भेज दी है.
सीएम नीतीश कुमार ने ट्वीट कर कहने लगे कि हमने जननायक कर्पूरी ठाकुर को भारत रत्न से सम्मानित करने के लिए अपनी अनुशंसा केन्द्र सरकार को पहले ही भेज दी है. इससे पहले भी वर्ष 2007, 2017, 2018 एवं 2019 में भारत रत्न के लिए इनके नाम की अनुशंसा की गई थी. हमारी ख्वाहिश है कि जननायक कर्पूरी ठाकुर को भारत रत्न से विभूषित किया जाय.
जननायक कर्पूरी ठाकुर को भारत रत्न से सम्मानित करने की मांग को लेकर सीएम नीतीश कुमार और नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी प्रसाद यादव के बीच ठन गया है.दोनों अदब और तहजीब भूल गये.अदब और तहजीब के लिए दुनिया भर में मशहूर है नवाबों की लखनऊ.इस नगरी में मुस्कराने की कई वजहें हैं. अवध की आबो-हवा में नजाकत, नफासत और शराफत है.यहां के हाट-बाट और ठाठ निराले हैं. 'पहले आप-पहले आप' की लखनवी तहजीब मेहमाननवाजी का अनुपम उदाहरण है.
पटना में लखनऊवी तहजीब को दरकिनार कर सीएम नीतीश कुमार और नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी प्रसाद यादव 'पहले मैं-पहले मैं' करने लगे.नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी प्रसाद यादव ने कहा कि जननायक कर्पूरी जी को भारत रत्न के लिए मैंने ट्वीट किया.पर दिखावटी जवाब दिया.अगर वास्तव में कर्पूरी जी को भारत रत्न दिलाने की नीतीश जी की ख्वाहिश है तो क्या इस माँग पूर्ति के लिए वो हमारे साथ राष्ट्रपति के सामने परेड़ में सम्मिलित होंगे?अन्यथा वो पहल करें
तेजस्वी यादव ने ट्वीट कर कहा कि जननायक कर्पूरी ठाकुर जी को भारत रत्न देने की हमारी पुरानी मांग है. लेकिन बिहार से एनडीए के 40 में से 39 सांसद होने के बावजूद डबल इंजन सरकार जननायक को भारत रत्न क्यों नहीं दे रही है? क्या इसलिए कि वो वंचित समूह से संबंध रखते है? सीएम इसके लिए विशेष रूप से पीएम से क्यों नहीं मिलते?
तेजस्वी ने सीएम नीतीश पर निशाना साधते हुए कहा कि नीतीश जी, माना कि बीजेपी के हाथों बंधक होने के बाद आप पटना यूनिवर्सिटी को केंद्रीय विश्वविद्यालय का भी दर्जा नहीं दिला सकते. लेकिन राजनीति से इतर कर्पूरी जी को भारत रत्न दिलाने के लिए आप हमारी माँग का समर्थन करें.सीएम नीतीश के इस ट्वीट पर तेजस्वी ने पलटवार किया है और सीएम नीतीश को एक चुनौती दी है. उन्होंने ट्वीट कर कहा कि जननायक कर्पूरी जी को भारत रत्न देने के लिए मैंने शाम 4:04 मिनट पर ट्वीट किया. सीएम ने 4:24 पर दिखावटी जवाब दिया. अगर वास्तव में कर्पूरी जी को भारत रत्न दिलाने की नीतीश जी की ख्वाहिश है तो क्या इस माँग पूर्ति के लिए वो हमारे साथ राष्ट्रपति के सामने परेड में सम्मिलित होंगे? अगर नहीं तो वो इस ओर पहल करें.
बता दें कि पिछले दिनों कर्पूरी ठाकुरजी के बारे में बोलते हुए मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने कहा कि आरजेडी या आज के नेता उनके सादा जीवन उच्च विचार के सिद्धांत को भूल गए हैं. आजकल लोग सामाजिक रूप से गायब रहते हैं और सोशल मीडिया पर बस एंटी-सोशल बातें बोलते रहते हैं.नीतीश कुमार ने यह भी कहा था कि सोशल मीडिया पर कुछ भी बकवास कर लेने और सरकार चलाने में फर्क होता है. उन्होंने कर्पूरी ठाकुर, अंबेडकर और लोहिया के विचारों को दोहराया था और तेजस्वी की नीतियों को भी आड़े-हाथों लिया था.
Copyright @ 2019 All Right Reserved | Powred by eMag Technologies Pvt. Ltd.
Comments